歌詞
खुल कभी तो
खुल कभी कहीं
मैं आसमान
तू मेरी ज़मीन
बूंद-बूंद बरसू मैं
पानी-पानी खेलूं खेलूं और बेह जाऊं
गीले-गीले होठों को मैं
बारिशों से चूमू-चूमू और कह जाऊ
तू ज़मीन हैं
तू मेरी ज़मीन
खुल कभी तोह
खुल कभी कहीं
मैं आसमान
तू मेरी ज़मीन
Hm-mm, hm-mm, hm-mm, hm-mm, hm-mm
Na-na, na-na, na-na, hm-mm
लब तेरे यूँ खुले जैसे हर्फ थे
होंठ पर यूँ घुले जैसे बर्फ थे
आना ज़रा-ज़रा मैं हौले-हौले
सांस-सांस सेंक दूँ तुझे
लब तेरे यूँ खुले जैसे हर्फ थे
होंठ पर यूँ घुले जैसे बर्फ थे
तू ही तू हैं
मैं कहीं नहीं
हम-म खुल कभी तो
खुल कभी कहीं
हम-म मैं आसमान
तू मेरी ज़मीन
झुक के जब झुमका मैं
चूम रहा था
देर तक गुलमोहर झूम रहा था
जल के मैं सोचता था
गुलमोहर की आग ही में
फेंक दूँ तुझे
झुक के जब झुमका मैं
चूम रहा था
देर तक गुलमोहर झूम रहा था
तू मेरी कसम
तू मेरा यक़ीन
खुल कभी तोह
खुल कभी कहीं
मैं आसमान
तू मेरी ज़मीन
बूंद-बूंद बरसू मैं
पानी पानी केहलू खेलू और बेह जाऊँ
हम-म गीले, गीले होंठों को मैं
बारिशों से चूमू चूमू और कह जाऊँ
Written by: Vishal Bhardwaj

