Crédits
INTERPRÉTATION
Rahul Pais
Interprète
Nariman Khambata
Interprète
Priya Malik
Interprète
COMPOSITION ET PAROLES
Rahul Pais
Composition
Nariman Khambata
Composition
Priya Malik
Paroles
Paroles
जब शाम होने लगी
क्या देखा ख़ुद को उड़ते हुए?
जब चाँद से तुम मिले
अंधेरे से भी बातें क्या हुई?
खोल अपनी ज़ुबान
ये रंग दोस्ती का
कदी हस्सदा ते कदी रोंदा परिंदा
उड़ेया वो, वो उड़ेया
कदी हस्सदा ते कदी रोंदा परिंदा
चुगेया बीज दोस्ती दा
जब पंख कटे थे, धम से गिरे थे
ते सब वेखेया सी, तू मैनू याद कीता सी
सारी रोशनी लौट आने से, संग में मुस्कुराने से
बादल जो आए थे, अब देख, चले गए
दोस्ती, प्यार की ये राहें
कोई भी रंग लाएँ
साथ ही उड़ेंगे
कदी हस्सदा ते कदी रोंदा परिंदा
उड़ेया वो, वो उड़ेया
कदी हस्सदा ते कदी रोंदा परिंदा
चुगेया बीज दोस्ती दा
जे होवे चाहे बारिश
या अधूरी रहे ख्वाहिश
जे आवे चाहे आंधी
We don't stop for nobody
कदी हस्सदा ते कदी रोंदा परिंदा
उड़ेया वो, वो उड़ेया
कदी हस्सदा ते कदी रोंदा परिंदा
चुगेया बीज दोस्ती दा
Written by: Nariman Khambata, Priya Malik, Rahul Pais

