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Crédits

INTERPRÉTATION
Vinay Sapru
Vinay Sapru
Chant
Kunwar Anshith
Kunwar Anshith
Interprète
Esha Gaur
Esha Gaur
Interprète
Shreya Awasthi
Shreya Awasthi
Interprète
COMPOSITION ET PAROLES
Vinay Sapru
Vinay Sapru
Paroles/Composition
Radhika Rao
Radhika Rao
Paroles/Composition
PRODUCTION ET INGÉNIERIE
Rao And Sapru Films Private Limted
Rao And Sapru Films Private Limted
Production

Paroles

रुद्राष्टकम्
नमामीशमीशान निर्वाण रूपं
विभुं व्यापकं ब्रह्म वेदस्वरूपम्।
निजं निर्गुणं निर्विकल्पं निरीहं
चिदाकाशमाकाशवासं भजेऽहम्॥1॥
निराकारमोंकारमूलं तुरीयं
गिरा ज्ञान गोतीतमीशं गिरीशम्।
करालं महाकाल कालं कृपालं
गुणागारसंसारपारं नतोऽहम्॥2॥
तुषाराद्रिसंकाश गौरं गभीरं
मनोभूत कोटिप्रभा श्री शरीरम्।
स्फुरन्मौलि कल्लोलिनी चारु गङ्गा
लसद्भाल बालेन्दु कण्ठे भुजङ्गा॥3॥
चलत्कुण्डलं भ्रुकुटीरेखमालं
सनाथं समं संमुखं नीलकण्ठम्।
सुपद्माश्रयोऽमुखगूढं पुरारिं
प्रणमामि शम्भुं शनैः पञ्चवक्त्रम्॥4॥
गिरीशं गणेऽशं गले नीलवर्णं
गवेन्द्राधिरूढं गुणातीतशोभम्।
कलाभाष्वणं जातपावकं पञ्च
मृगेशं महेशं सुरेशं नमामि॥5॥
अपूर्वं अनामं अहमं निरञ्जनं
निराकारमोंकारमूलं तुरीयम्।
गिरा ज्ञान गोतीतमीशं गिरीशम्
प्रभुं पञ्चवक्त्रं नमामि प्रणम्य॥6॥
न यावद् उमानाथ पादारविन्दं
भजंतीह लोके परे वा नराणाम्।
न तावत्सुखं शान्ति सन्ताप नाशं
प्रभो दत्तमाशु त्रिलोके न किम्चित्॥7॥
भज गोविन्दमेकं न जानन्ति येऽमी
नराः मोहिनं मूढदृष्टिं वितन्द्रम्।
विनाशं गता मर्त्यलोकेऽशुभेऽस्मिन्
नमामीशमीशान निर्वाणरूपम्॥8॥
Written by: Radhika Rao, Vinay Sapru
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