गाने

भीड़ में भी हम तन्हा रहे तेरे ग़म ने ये हालत कर दी कभी खुद के लिए कुछ सोच सकें इतनी भी नहीं फ़ुर्सत दी आँखों की तलाश जो है वो है तेरा चेहरा धड़कन दिल के पास तो है, लेकिन है बेवजह मैं हूँ शाख़ से अब कोई पत्ता टूटा हुआ मुझको ये हवाएँ उड़ाती फिरें हर जगह कि बिन तेरे जीना नहीं हाँ, बिन तेरे जीना नहीं ना, बिन तेरे जीना नहीं जा, बिन तेरे जीना नहीं आँखों की तलाश जो है वो है तेरा चेहरा धड़कन दिल के पास तो है, लेकिन है बेवजह मैं हूँ शाख़ से अब कोई पत्ता टूटा हुआ मुझको ये हवाएँ उड़ाती फिरें हर जगह कि बिन तेरे जीना नहीं हाँ, बिन तेरे जीना नहीं ना, बिन तेरे जीना नहीं जा, बिन तेरे जीना नहीं चाहे जितने भी आँसू बहें साँसें सीने में चुभती रहें मुस्कुराकर हर ग़म सहें दिल से हो कम कभी ना ये दर्द तेरा फूल जैसा लगे हर ज़ख्म तेरा इनको मुझको तो सीना नहीं कि बिन तेरे जीना नहीं आँखों की तलाश जो है वो है तेरा चेहरा धड़कन दिल के पास तो है, लेकिन है बेवजह मैं हूँ शाख़ से अब कोई पत्ता टूटा हुआ मुझको ये हवाएँ उड़ाती फिरें हर जगह कि बिन तेरे जीना नहीं हाँ, बिन तेरे जीना नहीं जा, बिन तेरे जीना नहीं भीड़ में भी हम तन्हा रहे तेरे ग़म ने ये हालत कर दी कभी खुद के लिए कुछ सोच सकें इतनी भी नहीं फ़ुर्सत दी तेरी यादों में हर पल कटे ख़ुद से तेरी ही बातें करें दिल ख़िज़ाँओं सा बंजर रहे हमको मंज़ूर है हर सितम तेरा बेरुख़ी भी तेरी, बेवफ़ापन तेरा जाम खुशियों का पीना नहीं कि बिन तेरे जीना नहीं आँखों की तलाश जो है वो है तेरा चेहरा धड़कन दिल के पास तो है, लेकिन है बेवजह मैं हूँ शाख़ से अब कोई पत्ता टूटा हुआ मुझको ये हवाएँ उड़ाती फिरें हर जगह कि बिन तेरे जीना नहीं हाँ, बिन तेरे जीना नहीं ना, बिन तेरे जीना नहीं जा, बिन तेरे जीना नहीं कि बिन तेरे जीना नहीं हाँ, बिन तेरे जीना नहीं ना, बिन तेरे जीना नहीं जा, बिन तेरे जीना नहीं कि बिन तेरे... कि बिन तेरे जीना नहीं कि बिन तेरे... कि बिन तेरे जीना नहीं कि बिन तेरे...
Writer(s): Sayeed Quadri Lyrics powered by www.musixmatch.com
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