गाने
१०० ख़्वाब हैं, १०० मेरी ख़्वाहिशें
वो मैं करूँ, जो मुझे चाहिए
बन के तितली मैं तो निकली
थोड़ी ज़िद्दी, थोड़ी पगली
ना, ना, ना, हाँ
सब के जैसी नहीं हूँ मैं, जैसी भी हूँ, सही हूँ मैं
जाने कितने ही रंगों में डूब कर के बनी हूँ मैं
मेरी मर्ज़ी, मैं चलूँ चाहे फिर जो भी पहन के
मेरी मर्ज़ी, मैं रहूँ चाहे फिर दिन-भर phone पे
मेरी मर्ज़ी, मैं रहूँ या ना रहूँ फिर होश में
क्यूँ रहना होश में? दिल ये रोके ना रुके
बन के तितली मैं तो निकली
थोड़ी ज़िद्दी, थोड़ी पगली
ना, ना, ना, हाँ
दिल जहाँ ले चलेगा मुझको ये मेरा
दिल मेरा भी है देखूँ मैं हर इक जगह
जीना है जब खुलके तो क्या सोचना?
बेवजह ये उमर आए ना
बन के तितली मैं तो निकली
थोड़ी ज़िद्दी, थोड़ी पगली
ना, ना, ना, हाँ
मेरी अपनी ख़ुशी हूँ मैं (मेरी अपनी ख़ुशी हूँ मैं)
ख़ासियत भी, कमी हूँ मैं (ख़ासियत भी, कमी हूँ मैं)
जैसी भी हूँ, सही हूँ मैं (जैसी भी हूँ, सही हूँ मैं)
हाँ, सब के जैसी नहीं हूँ मैं
बन के तितली मैं तो निकली
थोड़ी ज़िद्दी, थोड़ी पगली
ना, ना
Typical candy
Writer(s): Kunaal Vermaa, Yuvan Raja
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