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Credits

PERFORMING ARTISTS
Javed Ali
Javed Ali
Performer
Sajid Wajid
Sajid Wajid
Performer
Sunidhi Chauhan
Sunidhi Chauhan
Performer
COMPOSITION & LYRICS
Sajid Wajid
Sajid Wajid
Composer
Kausar Munir
Kausar Munir
Lyrics

Lyrics

हो, चाँद चाहूँ, ना चकोरा ना फ़लक का टुकड़ा, टुकड़ा, टुकड़ा नूर चाहूँ, ना मैं हूरी ना परी सा मुखड़ा, मुखड़ा, मुखड़ा संग-संग चल के, संग-संग चख ले मीठा-मीठा हर सुख, हर दुखड़ा उसे ख़ाबों से जगाऊँ, उसे बाँहों में सुलाऊँ सर-आँखों पे बिठाऊँ, उसे हाथों से खिलाऊँ ता-उमर दिल ने दस्तर-ख़्वान बिछाया... हाँ, दिल ने दस्तर-ख़्वान बिछाया दावत-ए-इश्क़ है दिल ने दस्तर-ख़्वान बिछाया दावत-ए-इश्क़ है है क़ुबूल तो आजा, जानाँ, दावत-ए-इश्क़ है है क़ुबूल तो आजा, जानाँ, दावत-ए-इश्क़ है, इश्क़ है दिल ने दस्तर-ख़्वान बिछाया... हाँ, दिल ने दस्तर-ख़्वान बिछाया... सा-सा-सा-सा, नि-नि-नि-नि, धा-धा-धा-धा, पा-पा-पा-पा मा-मा-मा-मा, गा-गा-गा-गा, रे-रे-रे-रे, सा-सा-सा-सा सा-सा-सा-सा, नि-नि-नि-नि, धा-धा-धा-धा, पा-पा-पा-पा मा-मा-मा-मा, गा-गा-गा-गा, रे-रे-रे-रे, सा-सा-सा-सा नि-सा-सा-सा-गा पा-सा-सा-सा-गा नि-सा-सा-सा-गा बादलों को चुनके-बुनके कालीन बनाया है तेरे लिए तारों को तोड़ करके तश्तरी में सजाया है तेरे लिए चाँद-तारों को क्यूँ सताया? दिल मिलाया है मेरे लिए जाऊँ जिधर भी खिल-खिल ऊधर ही धूप निकलती है मेरे लिए हाय, बातें तेरी चाशनी सी मीठी-मीठी (आए-हाए) बातें ही या दावतें भी मीठी-मीठी? तू आए तो फीकी सी महफ़िल में मेरी, हाँ, लज़्ज़तें लौट आएँ ऐ, हज़रत बे-लज़्ज़त जो है तेरी दावत तो, बोलो, भला कौन आए? अरे, कह दे तू जो सारी देगों को आग दूँ दिल की, दम भी मैं दे दूँ अपना दिल ने दस्तर-ख़्वान बिछाया... दिल ने दस्तर-ख़्वान बिछाया दावत-ए-इश्क़ है दिल ने दस्तर-ख़्वान बिछाया दावत-ए-इश्क़ है है क़ुबूल तो आजा, जानाँ, दावत-ए-इश्क़ है है क़ुबूल तो आजा, जानाँ, दावत-ए-इश्क़ है दावत-ए-इश्क़ है, दावत-ए-इश्क़ है दावत-ए-इश्क़ है, जी, दावत-ए-इश्क़ है हाँ, शर्बत में घुली मोहब्बत दावत-ए-इश्क़ है (आ-हा) तौबा-तौबा, बुरी मिलावट दावत-ए-इश्क़ है अरे, क़िस्मत से मिलती है शिरकत, दावत-ए-इश्क़ है अजी, बे-फ़िज़ूल की किसको फ़ुर्सत, दावत-ए-इश्क़ है (आ-हा) तुनक नहीं, ज़रा चख तो ले (आ-हा) धड़क नहीं, तू ज़रा दम तो ले जुड़ जाने दे तारे से तारे को ज़रा सोच-समझ एक बार तो ना सोच के, ना होश से तुझे मेहमाँ बनाया, हाँ, हमने बुलाया दिल से हाँ, है क़ुबूल, ये हमने माना... है क़ुबूल, ये हमने माना दावत-ए-इश्क़ है जी हुज़ूर, हमें मंज़ूरी ये दावत-ए-इश्क़ है जी हुज़ूर, हमें मंज़ूरी ये दावत-ए-इश्क़ है, इश्क़ है (आ-हा, आ-हा) (आ-हा, आ-हा) दावत-ए-इश्क़ है, दावत-ए-इश्क़ है दावत-ए-इश्क़ है (दावत-ए-इश्क़ है, दावत-ए-इश्क़ है) दावत-ए-दिल ने दस्तर-ख़्वान बिछाया दावत-ए-इश्क़ है (दावत-ए-इश्क़ है) दावत-ए-इश्क़ है, दावत-ए, दावत-ए-इश्क़ है (दावत-ए-इश्क़ है, दावत-ए-इश्क़ है) दावत-ए, दावत-ए-इश्क़ है दावत-ए, दावत-ए-इश्क़ है इश्क़ है, इश्क़ है, दावत-ए-इश्क़ है दावत-ए, दावत-ए-इश्क़ है दावत-ए, दावत-ए-इश्क़ है (इश्क़ है)
Writer(s): Kausar Munir, Sajid Khan, Vajid Khan Lyrics powered by www.musixmatch.com
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