Şarkı sözleri

दबी-दबी सी हँसी होंठों पे फ़ँसी है गुदगुदी कर रही हवा Ooh, हल्ला मचा रही है पागल सी ख्वाहिशें खुशियों की मिली है वजह कुछ है जुनून सा, कुछ पागलपन है १०० बातें करता ये बुद्धू सा मन है कुछ है जुनून सा, कुछ पागलपन है १०० बातें करता ये बुद्धू सा मन है करने दे ख़्वाबों को बदमाशियाँ चलने दे नज़रों की मनमानियाँ ढूँढे चलो कुछ ठिकाने नए होने दे पगली-पगली सी नादानियाँ होश में रहना है क्यूँ? रहने से होगा क्या? बेहोशियों में है मज़ा, ooh बचकानी हरकतें जो होती हैं, होने दे खुशियों की मिली है वजह कुछ है जुनून सा, कुछ पागलपन है १०० बातें करता ये बुद्धू सा मन है कुछ है जुनून सा, कुछ पागलपन है १०० बातें करता ये बुद्धू सा मन है मौसम ने भी की हैं कुछ कोशिशें होने लगी देखो ये बारिशें सर पे चढ़ा है ये कैसा असर? दौड़े रफ़्तार में दिल की सब धड़कनें धुन कोई चल रही है कानों में धीमे से रोशन है ज़्यादा ये सुबह हलचल जो हो रही है सीने में, होने दे खुशियों की मिली है वजह कुछ है जुनून सा, कुछ पागलपन है १०० बातें करता ये बुद्धू सा मन है कुछ है जुनून सा, कुछ पागलपन है १०० बातें करता ये बुद्धू सा मन है (बुद्धू सा मन है) (बुद्धू सा मन है)
Writer(s): Abhiruchi Chand, Amaal Mallik Lyrics powered by www.musixmatch.com
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