Kavita Krishnamurthy'in En Sevilen Şarkıları
Benzer Şarkılar
Krediler
PERFORMING ARTISTS
Kavita Krishnamurthy
Performer
Udit Narayan
Performer
Kader Khan
Actor
Rahul Roy
Actor
Govinda
Actor
Mamta Kulkarni
Actor
COMPOSITION & LYRICS
Nadeem Shravan
Composer
Sameer
Lyrics
Şarkı sözleri
सीने पे रख के सर को कहीं खो गए थे हम
सीने पे रख के सर को कहीं खो गए थे हम
थे इतने क़रीब कि एक हो गए थे हम
सीने पे रख के सर को कहीं खो गए थे हम
थे इतने क़रीब कि एक हो गए थे हम
मुद्दत की प्यास थी, तेरे होंठों का रस पिया
तेरे हसीन जिस्म को नज़रों से छू लिया
जादू बिखेरती थी समुंदर की तर हवा
सिंदूर बन गया था हर एक ज़र्रा रेत का
आँखें खुली-खुली थीं, मगर सो गए थे हम
थे इतने क़रीब कि एक हो गए थे हम
सीने पे रख के सर को कहीं खो गए थे हम
थे इतने क़रीब कि एक हो गए थे हम
कोई ना फ़ासला रहा साँसों के दरमियाँ
हर बात हो रही थी, ख़ामोश थी ज़ुबाँ
अरमाँ सिमट रहे थे बहारों की सेज पर
एहसास की गर्मी थी, दोनों थे बेख़बर
दोनों जहाँ को पल-भर भुला तो गए थे हम
थे इतने क़रीब कि एक हो गए थे हम
सीने पे रख के सर को कहीं खो गए थे हम
थे इतने क़रीब कि एक हो गए थे हम
सीने पे रख के सर को कहीं खो गए थे हम
थे इतने क़रीब कि एक हो गए थे हम
खो गए थे हम (खो गए थे हम)
खो गए थे हम (सो गए थे हम)
Writer(s): Sameer, Nadeem Shravan
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