इश्क़ भी महरबाँ, हुस्न भी महरबाँ
दिल मेरे बस में कहाँ
हाँ, रे हाँ, रे हाँ
मेरी चाहतों का समंदर तो देखो
समंदर तो देखो, समंदर तो देखो
मुझे भी कभी अपना कहकर तो देखो
कहकर तो देखो, कहकर तो देखो
धड़कने जब खिले, दो दिशाएं मिले
रोशन हुआ ये जहां
हाँ, रे हाँ, रे हाँ
मोहब्बत की हद से गुज़र कर तो देखो
गुज़र कर तो देखो, गुज़र कर तो देखो
समंदर को बाहों में भरकर तो देखो
भरकर तो देखो, भरकर तो देखो
इश्क़ भी महरबाँ, हुस्न भी महरबाँ
दिल मेरे बस में कहाँ
हाँ, रे हाँ, रे हाँ
मौसम मोहब्बत के, चाहत के, इकरार के
मेरे लहू में उतरते रहे
साँसों ने रो-रो के माँगी है रब से दुआ
मर कर भी तुम पर मरते रहें
एक साथ हम रहेंगे, एक साथ हम कहेंगे
साँसों ने साँसों पर लिख दी जो दास्ताँ
हाँ, रे हाँ, रे हाँ
कभी मेरे दिल में उतर कर तो देखो
उतर कर तो देखो, उतर कर तो देखो
तुम इस आईने में सँवर कर तो देखो
सँवर कर तो देखो, सँवर कर तो देखो
ख्वाबों में रहते हो, रग-रग में बहते हो तुम
छाए हो दिल पर बादल हो तुम
होंटों पे हस्ते हो, आँखों में बस्ते हो तुम
मेरी उमँगों की हलचल हो तुम
खामोशियों के धारे करने लगे इशारे
आँखों ने आँखों को दे दी है एक जुबाँ
हाँ, रे हाँ, रे हाँ
कभी दूर एक पल भी रहकर तो देखो
रहकर तो देखो, रहकर तो देखो
अभी जान दे दूँगी कहकर तो देखो
कहकर तो देखो, कहकर तो देखो
इश्क़ भी महरबाँ, हुस्न भी महरबाँ
दिल मेरे बस में कहाँ
हाँ, रे हाँ, रे हाँ
मेरी चाहतों का समंदर तो देखो
समंदर तो देखो, समंदर तो देखो
मुझे भी कभी अपना कहकर दो देखो
कहकर दो देखो, कहकर दो देखो
मोहब्बत की हद से गुज़र कर तो देखो
गुज़र कर तो देखो, गुज़र कर तो देखो
समंदर को बाहों में भरकर तो देखो
भरकर तो देखो, भरकर तो देखो