Lyrics
मैं चली, मैं चली, पीछे-पीछे जहाँ
ये ना पूछो, "किधर?" ये ना पूछो, "कहाँ?"
सजदे में हुस्न के झुक गया आसमाँ
लो शुरू हो गई प्यार की दास्ताँ
सजदे में हुस्न के...
जाओ जहाँ कहीं आँखों से दूर
दिल से ना जाओगे, मेरे हुज़ूर
जादू की राहों का छाया सुरूर
ऐसे में बहके तो किसका क़ुसूर?
सजदे में हुस्न के झुक गया आसमाँ
लो शुरू हो गई प्यार की दास्ताँ
मैं चली, मैं चली, पीछे-पीछे जहाँ
ये ना पूछो, "किधर?" ये ना पूछो, "कहाँ?"
मैं चली, मैं चली...
बहकें क़दम, चाहे बहके नज़र
जाएँगे, दिल लेके जाए जिधर
प्यार की राहों में प्यारा सफ़र
हम खो भी जाएँ तो क्या है फ़िकर?
मैं चली, मैं चली, पीछे-पीछे जहाँ
ये ना पूछो, "किधर?" ये ना पूछो, "कहाँ?"
सजदे में हुस्न के झुक गया आसमाँ
लो शुरू हो गई प्यार की दास्ताँ
मैं चली, मैं चली...
Writer(s): Shailendra, Jaikshan Shankar
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