Lyrics

रग-रग में बहता lava याद का ग़ुस्सा है या ग़म है, क्या पता जो है नामुमकिन, वही करना है एक दिन अब तो यही है इम्तिहान तेरा है जो ग़म तेरा, दिल में ही छुपा अपनी ताक़त उसे तू बना आगे दीवार है, चलना दुश्वार है एक ठोकर में उसको गिरा (तूफ़ाँ) पर्वत को तोड़ दे, (तूफ़ाँ) दरिया को मोड़ दे (तूफ़ाँ) सूरज निचोड़ दे, हो-ओ-ओ-ओ (तूफ़ाँ) हाथों में बिजलियाँ, (तूफ़ाँ) जुंबिश में आँधियाँ (तूफ़ाँ) लेकर चल कहाँ? हो-ओ-ओ-ओ-ओ चल लेके ये जुनूँ वादा पूरा करूँ, जो तूने ख़ुद से ही था किया दुश्मन हो आसमाँ या कि सारा जहाँ, तू है कौन अब ये सबको दिखा (तूफ़ाँ) पर्वत को तोड़ दे, (तूफ़ाँ) दरिया को मोड़ दे (तूफ़ाँ) सूरज निचोड़ दे, हो-ओ-ओ-ओ (तूफ़ाँ) हाथों में बिजलियाँ, (तूफ़ाँ) जुंबिश में आँधियाँ (तूफ़ाँ) लेकर चल कहाँ? हो-ओ-ओ-ओ-ओ दिल में कोई आग फिर से जागी है तन में सोया लहू आँखें मलता है एक ज़िद अपना रस्ता ढूँढ रही है तूफ़ाँ जो थम सा गया था, फिर चलता है (तूफ़ाँ) पर्वत को तोड़ दे, (तूफ़ाँ) दरिया को मोड़ दे (तूफ़ाँ) सूरज निचोड़ दे, हो-ओ-ओ-ओ (तूफ़ाँ) हाथों में बिजलियाँ, (तूफ़ाँ) जुंबिश में आँधियाँ (तूफ़ाँ) लेकर चल कहाँ? हो-ओ-ओ-ओ (तूफ़ाँ) पर्वत को तोड़ दे, (तूफ़ाँ) दरिया को मोड़ दे (तूफ़ाँ) सूरज निचोड़ दे, हो-ओ-ओ-ओ (तूफ़ाँ) हाथों में बिजलियाँ, (तूफ़ाँ) जुंबिश में आँधियाँ (तूफ़ाँ) लेकर चल कहाँ? हो-ओ-ओ-ओ (तूफ़ाँ) पर्वत को तोड़ दे, (तूफ़ाँ) दरिया को मोड़ दे (तूफ़ाँ) सूरज निचोड़ दे, हो-ओ-ओ-ओ (तूफ़ाँ) हाथों में बिजलियाँ, (तूफ़ाँ) जुंबिश में आँधियाँ (तूफ़ाँ) लेकर चल कहाँ? हो-ओ-ओ-ओ (तूफ़ाँ)
Writer(s): Anirudh Ravichander, Alam Raqueeb Lyrics powered by www.musixmatch.com
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